बगदाद. इराक के बगदाद में 24 घंटे के अंदर एक बार फिर रॉकेट हमला हुआ है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस बार दो मिसाइलों हाई सिक्योरिटी वाले ग्रीन जोन (अंतरराष्ट्रीय क्षेत्र) में गिरीं। इस जगह पर कई विदेशी दूतावास मौजूद हैं। बताया गया है कि दो बड़े धमाकों के बाद पूरे ग्रीन जोन में सुरक्षा अलार्म बजने लगे। किसी भी संगठन ने अभी तक हमलों की जिम्मेदारी नहीं ली है। हालांकि, अमेरिकी अधिकारियों ने इसके पीछे इराक में स्थित ईरान समर्थित शिया विद्रोहियों पर शक जताया है।
एक दिन पहले ही ईरान ने इराक में स्थित दो अमेरिकी सैन्य बेसों पर 22 मिसाइलें दागी थीं। ईरान ने दावा किया था कि अनबर प्रांत में ऐन अल-असद एयर बेस और इरबिल के एक ग्रीन जोन पर हमले में अमेरिकी के 80 सैनिक मारे गए। हालांकि, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इस दावे को झूठा करार दिया। न्यूज एजेंसी रॉयटर्स ने इससे जुड़ी कुछ सैटेलाइट फोटोज जारी की हैं। इनमें दिखाया गया है कि ईरान ने मिसाइलें समझदारी से अमेरिकी ठिकानों पर दागीं और इससे करीब 7 इमारतों और अन्य ढांचों को नुकसान पहुंचा। तबाह हुए तीन ढांचे एयरक्राफ्ट मेंटेनेंस में लगे हैंगर के हैं।
ईरान जानबूझकर अमेरिकी सेना को निशाना बनाने का मौका चूका
ट्रम्प प्रशासन के अफसर मानते हैं कि ईरान ने जानबूझकर बेसों पर जानबूझकर सैनिकों को निशाना नहीं बनाया और मिसाइलें आसपास गिरा दीं। हालांकि, ज्वाइंट चीफ ऑफ स्टाफ मार्क माइली ने कहा कि ईरान शायद अमेरिका के वाहन और एयरक्राफ्ट को नुकसान पहुंचाना चाह रहा था। इसलिए उसने इस तरह निशाने साधे।
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