जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे सोमवार को सातवें दिन दूसरी बार केयो यूनिवर्सिटी अस्पताल पहुंचे। आबे 17 अगस्त को भी अस्पताल पहुंचे थे। इसके बाद से ही उनकी सेहत को लेकर जापान की मीडिया में कुछ बातें चल रही हैं। कैबिनेट सेक्रेटरी योशिहिडे सुगा ने शिंजो की सेहत को लेकर चल रही चर्चाओं को खारिज कर दिया। सुगा ने कहा- वे रूटीन चेकअप के लिए अस्पताल पहुंचे हैं। मैं उन्हें हर दिन देख रहा हूं, मुझे उनमें कोई बदलाव नजर नहीं आ रहा।
शिंजो ने सोमवार को ही प्रधानमंत्री के तौर पर 7 साल 6 महीने का समय पूरा किया है। आबे 2799 दिनों से इस पद पर बने हुए हैं। इससे पहले यह रिकार्ड उनके चाचा और देश के पूर्व प्रधानमंत्री इसाकु सैतो के नाम था।
आंत से जुड़ी बीमारी से जूझ रहे हैं शिंजो
शिंजो को लंबे समय से आंत से जुड़ी बीमारी अल्सरट्रेटिव कोलाइटिस है। इसमें आंत में नासूर और सूजन जैसी समस्याएं होती हैं। इसी बीमारी की वजह से शिंजो को 2012 में दूसरी बार प्रधानमंत्री बनने के बाद इस्तीफा देना पड़ा था। अब वे नियमित इलाज करके अपनी इस बीमारी को कंट्रोल में रखते हैं। पहले इस बीमारी के लिए सही इलाज मौजूद नहीं था। इस तरह की बीमारी में सही ढंग से खाना न खाने और तनाव लेने से स्थिति बिगड़ने की संभावना बनी रहती है।
देश में घट रही है शिंजो की लोकप्रियता: सर्वे
जापान की क्योडो न्यूज एजेंसी के सर्वे के मुताबिक, देश में शिंजो की लोकप्रियता के पहले के मुकाबले कम हुई है। रविवार को सार्वजनिक हुए इस सर्वे में कहा गया है कि देश में 58.4% लोग कोरोना महामारी से निपटने के सरकार के तरीके से नाखुश हैं। मौजूदा कैबिनेट की अप्रूवल रेटिंग 36% है, जोकि शिंजो के 2012 में प्रधानमंत्री बनने के बाद से सबसे कम है। हालांकि, देश में महामारी दूसरे देशों की तुलना में काफी हद तक काबू में है। यहां अब तक 62 हजार से ज्यादा संक्रमित मिले हैं और 1200 मौतें हुई हैं, लेकिन लोग सरकार की ओर से दोबारा में इस्तेमाल में लाए जाने वाले मास्क बांटने जैसी योजनाओं के पक्ष में नहीं है।
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